बिहारराजनीति

शिक्षकों को 15 मार्च तक नौकरी नहीं मिली तो भाजपा करेगी आंदोलन: डॉ.संजय जायसवाल

कहा- एनडीए की सरकार में विकास दर राष्ट्रीय औसत से ज्यादा बढ़ा
पटना। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के बिहार इकाई के अध्यक्ष डॉ. संजय जायसवाल ने नीतीश सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर 15 मार्च तक शिक्षकों को नौकरी नहीं दी गई तो भाजपा अंतिम परिणति तक आंदोलन करेगी। उन्होंने बिहार सरकार द्वारा पेश वार्षिक बजट को लेकर भी सरकार पर निशाना साधा।
भाजपा प्रदेश कार्यालय में शुक्रवार को आयोजित एक प्रेस वार्ता में डॉ. जायसवाल ने कहा कि 15 मार्च तक शिक्षकों के नौकरी कोई निदान नहीं निकाला गया तो भाजपा उनके साथ आंदोलन में कूद पड़ेगी। उन्होंने नीतीश कुमार पर इस मसले को लेकर झूठ बोलने और शिक्षामंत्री को मानसिक विकलांग बताते हुए जाससवाल ने कहा कि आपके विकलांग शिक्षामंत्री ने भी कहा कि मैंने नौकरी के लिए दस्तखत कर दिया। उन्होंने कहा कि शिक्षक अभ्यर्थियों को कितना बरगलइएगा
भाजपा नेता ने कहा कि पिछले साल अप्रैल में आपने भाजपा से वादा किया था कि शिक्षकों को नौकरी देंगे। इसके लिए एनडीए सरकार में एक लाख से अधिक शिक्षकों को नौकरी देने की योजना थी। लेकिन आप बजट में पैसा नहीं दे रहे हैं तो शिक्षकों को नौकरी कहां से देंगे। बिहारी होने के नाते शिक्षकों को और एनडीए काल में नौकरी के लिए किए गए वादे को पूरा करें।
संजय जायसवाल ने कहा कि बिहार का पहला बजट है जो पिछले बजट से भी कम है। उन्होंने कहा कि सरकार की उधारी को हटा दीजिए तो यह बजट 2 लाख 38 हजार 327 करोड़ का बजट है, जो बिहार सरकार ने अनुपूरक मांगे रखी है, अगर उन राशियों को जोड़ दिया जाए तो 2023 का बजट पिछले साल के बजट की तुलना में 12 प्रतिशत कम है। उन्होंने दावा करते हुए कहा कि यह बताता है कि बिहार रसातल में जा रहा है। बिहार सरकार ने करेले पर नीम चढ़ाने का काम किया है।
भाजपा नेता ने कहा कि बिहार कृषि प्रधान राज्य है। बिहार के बजट में कुल बजट का 3.3 हिस्सेदारी दिया गया है जबकि यहां को अर्थव्यवस्था में कृषि की हिस्सेदारी 26 प्रतिशत है।
उन्होंने कहा कि महागठबंधन की सरकार बिहार की जनता को गुमराह कर रही है। बिहार ने 1990 से 2005 का कार्यकाल देखा। इतना ही 2012 से 2017 का भी कार्यकाल देखा। महागठबंधन की सरकार का यह बजट झूठ बोल रहा। बिहार की आमदानी का औसत 2012 से 2017 तक राष्ट्रीय औसत से कम था। जब बिहार में एनडीए की सरकार बनी तो बिहार की आमदनी का औसत राष्ट्रीय औसत से बढ़ गया। बिहार में भाजपा की सरकार ही राज्य का विकास कर सकती है।
उन्होंने एक प्रश्न के उत्तर में कहा कि सुरक्षा देना आईबी और केंद्र सरकार का मामला है। बिहार में उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री के बराबर सुरक्षा दिया जाना क्या उचित है? उन्होंने नीतीश कुमार के फिर से एनडीए में आने के प्रश्न पर कहा कि गृहमंत्री के बयान के बाद भाजपा के किसी अन्य कार्यकर्ता का इस पर बयान देने का कोई मतलब नहीं रह जाता।
प्रेस वार्ता में मुख्य रूप से भाजपा के प्रदेश मुख्यालय प्रभारी सुरेश रुंगटा, प्रदेश प्रवक्ता संतोष पाठक, प्रदेश मीडिया प्रभारी राकेश कुमार सिंह, अशोक भट्ट, प्रेस पैनलिस्ट विनोद शर्मा आदि उपस्थित थे।

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